कश्मीर घाटी में पत्थरबाज के जनाजे में हिंसक हुई भीड़…
श्रीनगर में पत्थरबाज युवक के जनाजे में उपद्रवी तत्वों और पुलिस के बीच हुई हिंसक झड़प के बाद सीआरपीएफ के श्रीनगर यूनिट के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है। जनाजे में चल रही भीड़ उस समय अनियंत्रित हो गई जब सुरक्षा बलों ने आईएसआईएस के झंडे लहराने पर ऐतराज किया। इस दौरान सुरक्षा बलों के साथ उनकी हिंसक झड़प में पांच लोग जख्मी हुए हैं।
बता दें कि जम्मू-कश्मीर की ग्रीष्मकालीन राजधानी श्रीनगर के डाऊन-टाऊन में शुक्रवार को पत्थरबाजी के दौरान एक युवक कैसर अहमद सीआरपीएफ की जिप्सी के नीचे आ गया था और घायल युवक की इलाज के दौरान मौत हो गई। उनके मरने की सूचना के बाद घाटी में काफी तनाव है। शनिवार को फतेहकदल उसके पेतृृक निवास पर ले जाया गया और वहीं पास स्थित कब्र में सुबह 10 बजे के करीब सुपुर्दे खाक किया गया।
इस बीच प्रशासन ने हालात और अफवाहों पर काबू पाने के लिए बडगाम व में मोबाईल इंटरनेट सेवाओं को बंद करने के अलावा डाऊन-टाऊन में निषेधाज्ञा लागू कर दी है। सभी संवेदनशील इलाकों में सुरक्षाबलों की तैनाती बढा दी गई है।
गौरतलब है कि गत शुक्रवार को नमाज-ए-जुम्मा के बाद डाऊन-टाऊन के नौहट्टा इलाके में राष्ट्रविरोधी हिंसक तत्वों से सीआरपीएफ की एक जिप्सी को घेर लिया था। उसमें सवार कुछ जवानों ने किसी तरह बाहर भाग अपनी जान बचाई। इस दौरान चालक ने जिप्सी को भी निकालने का प्रयास किया, लेकिन भीड़ ने उसे चारों तरफ से घेर रखा था। कुछ तत्व जिप्सी पर भी सवार हो गए थे।
इसी दौरान दो पत्थरबाज जिप्सी के नीचे आ गए। इसमें से एक का नाम कैसर अहमद है और दूसरे का नाम माेहम्मद युुनुस है। जिप्सी के नीचे आने के बाद कैसर गंभीर रूप से घायल हो गया। घायल अवस्था में उसे निकट के अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां उसकी मौत हो गई। आज तड़के दिवंगत कैसर अहमद का शव उसके परिजनों के हवाले किया गया। उसे फतेहकदल उसके पेतृृक निवास पर ले जाया गया और वहीं पास स्थित कब्र में सुबह 10 बजे के करीब सुपुर्दे खाक किया गया। कैसर फतेहकदल का रहने वाला था और बीते कुछ समय से डलगेट में अपने एक रिश्तेदार के पास रह रहा था।
कैसर की मौत की खबर फैलते ही श्रीनगर के विभिन्न इलाकों में तनाव फैल गया। एहतियात के तौर पर डाऊन-टाऊन में निषेधाज्ञा लागू कर दिया गया है। इसके साथ ही सभी संवेदनशील इलाकों में सुरक्षाबलों को भी तैनात कर दिया गया।
इस दौरान जनाजे में शामिल शरारती तत्वों ने खूंखार आतंकी संगठन आईएसआईएस के झंडे भी लहराए और मूस-मूसा जाकिर मूसा,हम क्या चाहते आजादी, यहां क्या चलेगा निजाम ए मुस्ताफा के नारे भी खूब लगाए। जनाजे बाद इन युवकों ने वहां एक बड़ा जुलूस निकालने का भी प्रयास किया और वहां तैनात सुरक्षाबलों पर पथराव करने लगे।
सुरक्षाबलों ने पहले तो संयम बनाए रखा, लेकिन जब हिंसक तत्व पूरी तरह बेकाबू होेने लगे तो उनहोंने भी लाठियों और आंसूगैस के अलावा पैलेट व पावा शेल का इस्तेमाल किया। कुछ ही देर में हिंसक झढ़पें फतेहकदल व उसके साथ सटे इलाकों में भी फैल गई। हिंसक झढ़पों में पांच लोगों के जख्मी होने की सूचना है।