आईएस के जेल तोडऩे, सीरिया व इराक में हमलों ने बढ़ाई चिंता
इस्लामिक स्टेट (आईएस) संगठन ने सीरिया में तीन वर्ष पहले अपना ‘किलाÓ ढहने के बाद से देश पर सबसे बड़ा हमला किया है। 100 से अधिक आतंकवादियों ने संदिग्ध चरमपंथियों को कैद कर रखने वाली मुख्य जेल पर हमला किया जिससे अमेरिका समर्थित कुर्द लड़ाकों के साथ लड़ाई छिड़ गई जो 24 घंटे बाद भी जारी रही और शुक्रवार को कई लोगों की मौत हो गई।
इराक में सीमा के उस पार, बंदूकधारियों ने शुक्रवार की सुबह से पहले बगदाद के उत्तर में सेना की बैरक पर धावा बोल दिया, जब अंदर सैनिक सोए हुए थे। भागने से पहले उन्होंने 11 सैनिकों की जान ले ली। इराक की सेना पर हुआ यह कई महीनों में सबसे घातक हमला था।
भीषण हमले दिखाते हैं कि पिछले कुछ वर्षों से इराक और सीरिया में निचले स्तर पर चरमपंथ बनाए रखने के बाद आतंकवादियों ने खुद को फिर से संगठित किया है। इराक और सीरिया में संगठन के क्षेत्रीय नियंत्रण को एक साल के अमेरिका समर्थित अभियान द्वारा कुचल दिया गया था, लेकिन इसके लड़ाकों ने ‘स्लीपर सेलÓ के साथ चरमपंथ जारी रखा, जिसने पिछले कुछ महीनों में सैकड़ों इराकियों और सीरियाई लोगों की तेजी से हत्या की है।
सीरिया में हुए हमले में उत्तरपूर्वी शहर हसाकेह में ग्वेरान जेल को निशाना बनाया गया, जो अमेरिका समर्थित सीरियाई कुर्द बलों द्वारा संचालित लगभग एक दर्जन जेलों में से सबसे बड़ी है, जिसमें संदिग्ध आईएस लड़ाके कैद हैं।
कुर्द नीत सीरियाई लोकतांत्रिक बलों (एसडीएफ) के प्रवक्ता, फरहाद शमी ने बताया कि ग्वेरान में आईएस कमांडर और सबसे खतरनाक माने जाने वाले कुख्यात अपराधियों सहित पांच हजार लोग कैद थे।
बलों के कमांडर मजलूम अबादी ने कहा कि आईएस ने जेल तोडऩे के लिए ”अपने ज्यादातर स्लीपर सेल को जुटाया। संघर्ष में सैकड़ों लोगों के मारे जाने की खबर है।