इटली से 263 छात्र भारत पहुंचे, सभी छात्रों को आईटीबीपी छावला कैंप भेजा गया
नई दिल्ली, एजेंसी। भारत में कोरोना वायरस संक्रमण के कई नए मामले सामने आने के साथ यह संख्या बढ़ कर 315 हो गई। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने यह जानकारी दी। दिल्ली में कोरोना वायरस के मामले बढ़कर 27 तक पहुंच गए। वहीं, कोरोना के खिलाफ लड़ाई में रविवार सुबह सात से जनता कर्फ्यू लागू है।
कोरोना वायरस से सबसे अधिक प्रभावित इटली से 263 भारतीय छात्रों को लेकर एयर इंडिया का विशेष विमान भारत पहुंच गया है । एयर इंडिया की विशेष उड़ान आज सुबह 9.15 बजे दिल्ली हवाई अड्डे पर उतरी। एयरपोर्ट पर थर्मल स्क्रीनिंग और इमिग्रेशन के बाद सभी छात्रों को आईटीबीपी छावला कैंप में क्वारेंटाइन फैसिलिटी में भेजा जाएगा।
अब तक दूसरे देशों से 1600 भारतीयों की वतन वापसी हो चुकी है। स्वास्थ्य सचिव लव अग्रवाल ने बताया कि करीब 1600 भारतीयों और दूसरे देशों के नागरिकों को मिलाकर करीब 1700लोगों को हम अपने क्वारंटाइन सेंटर में सेवाएं दे चुके हैं। आज रोम से 262 यात्री निकलेंगे और देश में वापस आएंगे। उनमें से ज्यादातर छात्र हैं, हम उनको अपने क्वारंटाइन सेंटर में रखेंगे।
सरकारी विमानन सेवा एयर इंडिया रोम में फंसे भारतीयों को लाने के लिए अपना 787 ड्रीमलाइनर विमान भेजा गया था। एयर इंडिया के एक अधिकारी ने बताया कि रोम में फंसे भारतीयों को लेकर रविवार सुबह नई दिल्ली लौट आएगा। सरकार ने कहा है कि 22 मार्च से एक सप्ताह तक किसी देश के विमान को भारत नहीं आने दिया जाएगा। पिछले कुछ सप्ताहों में भारत ने कोरोना वायरस से सबसे ज्यादा प्रभावित चीन, जापान और ईरान जैसे देशों से अपने कई नागरिकों को निकाला है।
इस बीच, भारत सरकार द्वारा सभी अंतरराष्ट्रीय उ़़डानों पर पूर्ण प्रतिबंध लगाए जाने से एक दिन पहले एम्सटर्डम हवाई अड्डे पर फंसे सौ भारतीयों ने सरकार से खुद को निकालने की अपील की है। ये सभी भारतीय यात्री अमेरिका से भारत आ रहे थे। इनका विमान बीच रास्ते से उस समय लौट गया, जब नई दिल्ली पहुंचने में महज दो घंटे का समय बचा हुआ था। एम्सटर्डम में फंसे भारतीयों में शामिल संजय सप्रा की पत्नी टीना सप्रा ने नागरिक उड्डयन मंत्री हरदीप पुरी को पत्र लिखकर अपने पति और अन्य भारतीय नागरिकों को लाने में मदद करने का अनुरोध किया है। उन्होंने इसके लिए विशेषष विमान भेजने की मांग की है।
मलेशिया में फंसे छात्रों को लाने की मांग
केरल के मुख्यमंत्री पी विजयन ने विदेश मंत्री एस जयशंकर को पत्र लिखकर मलेशिया में फंसे भारतीय छात्रों की सुरक्षित वापसी सुनिश्चित करने के लिए दखल देने की मांग की है। अपने पत्र में विजयन ने जयशंकर से लगभग ढाई सौ भारतीय छात्रों की वापसी के लिए तुरंत ध्यान देने का अनुरोध किया है। उन्होंने लिखा है कि भारत के लिए उड़ानें रद होने के चलते भारतीय छात्र अपने घर लौटने में असमर्थ हैं।
दुबई में रहने वाली भारतीय किशोरी 24 घंटे से ज्यादा समय तक जर्मनी के फ्रैंकफर्ट हवाई अड्डे पर फंसी रही। बाद में भारत और संयुक्त अरब अमीरात के अधिकारियों की मदद से वह अपने माता-पिता के पास लौट रही है। लंबे समय से दुबई में रहने वाले अरशद और उर्वी जहीर ने बताया कि उनकी बेटी मिहा जहीर वैंकूवर, कनाडा स्थित यूनिवर्सिटी ऑफ ब्रिटिश कोलंबिया में प्रथम वर्ष की छात्रा है। संयुक्त अरब अमीरात में यात्रा प्रतिबंधों के चलते वह फ्रैंकफर्ट हवाई अड्डे से दुबई की कनेक्टिंग फ्लाइट नहीं पकड़ सकी। अब वह अगली फ्लाइट से दुबई आ रही है।