पीएम मोदी के साथ मंच पर RSS प्रमुख मोहन भागवत के साथ होंगे कई बड़े चेहरे
राम नगरी अयोध्या में आस्था का सूर्योदय हो चुका है. सभी अयोध्यावासी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के स्वागत के लिए तैयार हैं. करीब साढ़े 12 बजे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी राम जन्मभूमि परिसर में रामलला के भव्य मंदिर निर्माण के लिए शिला पूजन करेंगे.
इस भव्य कार्यक्रम की तैयारी पूरी हो चुकी है. जिस मंच से भूमि पूजन के बाद प्रधानमंत्री देश को संबोधित करेंगे, उस पर मौजूद रहने वाले मेहमानों की सूची भी तैयार हो गई है. पीएम के साथ मंच पर आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत, राज्यपाल आनंदीबेन पटेल,
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट अध्यक्ष महंत नृत्य गोपाल दास मौजूद रहेंगे. वहीं, राम मंदिर आंदोलन में अग्रणी भूमिका निभाने वाले स्वर्गीय अशोक सिंघल के भतीजे ललित सिंघल पूरे धार्मिक कार्यक्रम की यजमानी करेंगे.
वैसे तो प्रधानमंत्री करीब साढ़े 11 बजे अयोध्या के साकेत कॉलेज में बने हेलीपैड पर उतरेंगे. यहां प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का स्वागत अलग-अलग जगहों पर अलग-अलग लोगों द्वारा किया जाएगा, जिसके तहत साकेत कॉलेज के हेलीपैड पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, राज्यपाल आनंदीबेन पटेल, जिलाधिकारी अनुजा झा के साथ ट्रस्ट के महासचिव चंपत राय उनका स्वागत करेंगे.
इसके बाद राम जन्मभूमि पर स्वागत की जिम्मेदारी अयोध्या के राजा विमलेंद्र मोहन, राम मंदिर भवन निर्माण समिति के अध्यक्ष नृपेंद्र मिश्रा और ट्रस्ट के अध्यक्ष नृत्य गोपाल दास की होगी. इसके बाद वह हनुमानगढ़ी में पूजा अर्चना के बाद पारिजात के पौधे का रोपण करेंगे.
इन सबके के बाद पीएम मोदी भूमि पूजन कार्यक्रम में शिरकत करेंगे. शुभ मुहूर्त 32 सेकंड का है जो दोपहर 12 बजकर 44 मिनट 8 सेकंड से 12 बजकर 44 मिनट 40 सेकंड के बीच है. इसी मुहूर्त के बीच प्रधानमंत्री चांदी की ईंट से राम मंदिर का शिलान्यास करेंगे.
इसके ठीक बाद मंच से आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत का संबोधन होगा. इसके बाद पीएम मोदी राष्ट्र को संबोधित करेंगे.अयोध्या में भूमि पूजन का कार्यक्रम सुबह आठ बजे से ही शुरू हो जाएगा. लेकिन मुख्या पूजा महज 10 मिनट में पूरी होगी.
भूमि पूजन के कार्यक्रम में शामिल होने के लिए राम जन्मभूमि परिसर में करीब साढ़े 12 बजे पीएम मोदी पहुंचेंगे. 32 सेकंड के अभिजित मुहूर्त में पीएम मोदी 12 बजकर 44 मिनट और 15 सेकंड में मंदिर के लिए नींव की पहली ईंट रखकर कार्य का प्रारंभ करेंगे.