बड़ी खबर : योगी सरकार ने जाने क्यों किया 2 IPS अफसरों सस्पेंड
पशुपालन विभाग का अफसर बनकर इंदौर के व्यवसायी से 9.72 करोड़ रुपये की ठगी के मामले में सोमवार को योगी सरकार ने बड़ी कार्रवाई की है.
इस मामले में सीएम योगी आदित्यनाथ ने आईपीएस अफसर दिनेश चंद दुबे और अरविंद सेन को सस्पेंड कर दिया है. बताया जा रहा है कि एसटीएफ की जांच में दोनों आईपीएस अफसर के घोटाले के मास्टरमाइंड आशीष राय से सीधे जुड़े होने के प्रमाण मिले है. वहीं पशुधन विभाग में हुए फर्जीवाड़े की FIR हजरतगंज कोतवाली में दर्ज कराई गई थी.
एसटीएफ से मिली जानकारी के मुताबिक आजमगढ़ में तैनाती के दौरान दोनों ही अफसरों की आशीष राय से सांठगांठ हुई थी. वहीं 8 ठेकों को दिलाने में डीसी दुबे अहम भूमिका जांच में सामने आई हैं. जबकि आईपीएस अरविंद सेन पर पीड़ित व्यापारी को सीबीसीआईडी मुख्यालय में बुलाकर धमकाने का आरोप है. सेन वर्तमान में डीआईजी पीएसी के पद पर आगरा में तैनात हैं.
इससे पहले एसटीएफ ने इस मामले में मुख्य आरोपित आशीष राय समेत नौ लोगों को गिरफ्तार कर फर्जीवाड़े का खुलासा किया था. आशीष पर पशुपालन विभाग का अधिकारी बनकर विभाग के राज्यमंत्री के पीए सहित अन्य सरकारी और गैर सरकारी लोगों के साथ व्यवसायी मंजीत सिंह को ठगने का आरोप है.
करीब दो साल दौड़ने के बाद भी जब मंजीत को ठेका नहीं मिला तो उसने इनके खिलाफ शिकायत की. ईडी को इस मामले में करोड़ों रुपये के लेन-देन होने के चलते मनी लॉन्ड्रिंग की आशंका है.
एसटीएफ की पड़ताल में मामले में करोड़ों के लेन-देन के साक्ष्य मिले हैं. मास्टरमाइंड आशीष राय ने अपने करीबी रूपक राय के नाम पर फर्जी फर्मों के बैंक खाते खुलवाए.
उसमें गोमतीनगर निवासी सोनार सचिन वर्मा के जरिए करोड़ों का लेन-देन भी किया गया. ईडी को आशंका है कि आशीष राय और उसके करीबियों ने फर्जीवाड़े के जरिए करोड़ों की कमाई की है और उसे फर्जी कंपनियों के जरिए खपाया. यह भी पता चला है कि आशीष ने लखनऊ, मुंबई समेत कई शहरों में बेनामी संपत्तियां भी बनाई हैं.