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अयोध्या : राम मंदिर ट्रस्ट के संतो ने शुरू किया यज्ञ और कहा चंपत राय हो बाहर

महाराष्ट्र के सीएम उद्धव ठाकरे मामले में श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के महासचिव चंपत राय के विवादित बयान के बाद साधु-संतों का आक्रोश समाप्त होने का नाम ही नहीं ले रहा है. वह लगातार किसी न किसी तरीके से अपना विरोध जता रहे हैं. इसी को लेकर अयोध्या में राम जन्म भूमि के बाद सबसे प्रतिष्ठित मंदिरों में एक अयोध्या हनुमानगढ़ी में संतों ने उनके खिलाफ विद्रोह का बिगुल बजा दिया. यहां के हनुमत यज्ञशाला में चंपत राय की बुद्धि शुद्धि यज्ञ का आयोजन किया गया.

हनुमानगढ़ी की यज्ञशाला में बैठकर बाकायदा संतों ने पहले जय श्रीराम का जयघोष किया, चंपत राय की बुद्धि शुद्धि हो इस तरह के नारे लगाए. उन्होंने नारे लगाए- माताओं का अपमान सहन नहीं किया जाएगा, चंपत राय को वापस करो, चंपत राय को ट्रस्ट के बाहर करो… अयोध्या हनुमानगढ़ी में राम मंदिर ट्रस्ट के महासचिव के खिलाफ संतों का आक्रोश साफ बताता है कि सब कुछ ठीक नहीं है.

अयोध्या में कुछ संतों ने उद्धव ठाकरे का विरोध करते हुए कहा था कि उद्धव ठाकरे को अयोध्या में नहीं आने दिया जाएगा और उनका विरोध किया जाएगा. इसी बयान के बाद राम मंदिर ट्रस्ट के महासचिव चंपत राय ने कहा था कि अयोध्या में किसी की मां ने इतना दूध नहीं पिलाया है कि वह उद्धव ठाकरे का सामना कर सके. अयोध्या में किसी की मां ने इतना जीरा नहीं खाया है कि इतना ताकतवर बच्चा पैदा करें जो गंगा को रोक सके. अयोध्या में वह कौन है? जिसकी मां ने इतना जीरा खाया है कि ऐसी संतान पैदा हुई, जो अयोध्या में उद्धव ठाकरे को घुसने से रोक सके.

अयोध्या: चंपत राय को राम मंदिर ट्रस्ट से बाहर करने की मांग, हनुमानगढ़ी में हुआ बुद्धि शुद्धि यज्ञ

हनुमान गढ़ी के महंत राजू दास ने कहा कि महाराष्ट्र में पालघर में साधुओं की हत्या को लेकर मैंने बैठक, प्रदर्शन सब कुछ किया. उसके बाद भी महाराष्ट्र सरकार ने संतों को न्याय नहीं दिया. हमने लगातार सीबीआई जांच की मांग उठाई लेकिन महाराष्ट्र सरकार नहीं सुनी. इसके लिए मैंने कहा कि जब तक सीबीआई जांच नहीं करती तो उद्धव ठाकरे को नहीं आने देंगे. उसके बाद चंपत राय का किस तरह दुर्भाग्यपूर्ण बयान आया. उसके लिए हमने उनकी बुद्धि शुद्धि यज्ञ करके हमने आज हनुमानगढ़ी के हनुमत यज्ञशाला में हवन किया. कामना की है कि हनुमान जी महाराज इनकी बुद्धि शुद्ध हो.

ये जिस साधु संतों की सम्मान की बात करते थे, उन साधु-संतों ने संघर्ष किया बलिदान दिया और सहयोग किया, ऐसे साधु-संतों की अयोध्या धरती का अपमान जिस भाव से उन्होंने किया उसके लिए उनकी बुद्धि शुद्धि यज्ञ का आयोजन हमने हनुमत यज्ञशाला में किया.

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