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नीरव मोदी के प्रत्यर्पण पर 7 जनवरी को होगा निर्णायक फैसला :-

पंजाब नेशनल बैंक से साढ़े 13 हजार करोड़ रुपये के घोटाले में भगौड़ा घोषित हीरा व्यापारी नीरव मोदी पर शिकंजा कसता जा रहा है। नीरव के भारत प्रत्यर्पण पर निर्णायक फैसला अगले वर्ष जनवरी में हो जाएगा। लंदन के वेस्टमिंस्टर मजिस्ट्रेट कोर्ट में प्रत्यर्पण को लेकर मंगलवार को हुई सुनवाई में चीफ मजिस्ट्रेट एम्मा अर्बथनॉट ने नीरव की रिमांड 29 दिसंबर तक बढ़ा दी।

नीरव मोदी के प्रत्यर्पण पर 7 जनवरी को होगा निर्णायक फैसला | Decision will  be taken on extradition of nirav modi on january 7 - Shortpedia News App
कोरोना प्रोटोकॉल के मद्देनजर नीरव इस बार भी वैंड्सवर्थ जेल से वीडियो लिंक के जरिये पेश हुआ। चीफ मजिस्ट्रेट एम्म अर्बथनॉट ने सुनवाई के दौरान नीरव मोदी को बताया कि अब बस एक और छोटी सी सुनवाई होगी और उसके बाद कोर्ट अपना फैसला सुनाएगी। सुनवाई के दौरान बढ़ी हुई दाढ़ी और मरून स्वेटर में पेश हुए नीरव मोदी ने सिर्फ अपना नाम और जन्मतिथि बोली बाकी समय वह चुपचाप रहा। कोर्ट अब इस मामले की निर्णायक सुनवाई अगले वर्ष 7 व 8 जनवरी को करेगा। जिला जज गूजी उस दिन दोनों पक्षों की अंतिम दलील सुनेंगे। इसके बाद वह एक या दो हफ्तों में अपना फैसला सुनाएंगे। 3 नवंबर को पिछली सुनवाई में जज गूजी ने सीबीआई और ईडी के कुछ गवाहों के बयानों की स्वीकार्यता के खिलाफ दलीलें सुनीं थीं। भारत सरकार की ओर से पैरवी कर रही क्रॉउन अभियोजन सेवा (सीपीएस) ने जोर दिया था कि भारतीय दंड संहिता की धारा 161 के तहत पेश किए गए साक्ष्य, गवाहों के बयान ब्रिटिश कोर्ट को यह मानने के लिए पर्याप्त हैं कि नीरव मोदी भारतीय न्यायपालिका के प्रति जवाबदेह है और उसके खिलाफ भारत में मुकदमा चलाना चाहिए। सीपीएस ने दलील दी कि इसके लिए नीरव का भारत प्रत्यर्पण जरूरी है।

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