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सियासी महायुद्ध : नंदीग्राम में आज शुभेंदु अधिकारी करेगे नामांकन

पश्चिम बंगाल की नंदीग्राम सीट से आज भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) प्रत्याशी शुभेंदु अधिकारी पर्चा भरेंगे. नामांकन से पहले शुभेंदु ने मंदिरों में दर्शन किया. उनके साथ तीन केंद्रीय मंत्री स्मृति इरानी, बाबुल सुप्रियो और धर्मेद्र प्रधान मौजूद हैं. पहले 10 मार्च को इस सीट से तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) प्रत्याशी ममता बनर्जी ने नामांकन दाखिल किया था.

 बीजेपी प्रत्याशी शुभेंदु अधिकारी जानकी मंदिर पहुंच गए हैं. media से बात करते हुए शुभेंदु ने कहा कि विकास के नाम पर चुनाव होगा. हालांकि, शुभेंदु ने ममता बनर्जी पर चुप्पी साध ली और कहा कि भगवान मेरे साथ हैं.

 सोना छुड़ा के सिंहवाहिनी मंदिर में दर्शन करने के बाद बीजेपी प्रत्याशी शुभेंदु अधिकारी ने जानकी नाथ मंदिर के रास्ते में पड़ने वाले शहीद वेदी को प्रणाम किया. 2007 के नंदीग्राम आंदोलन में जिन लोगों की मौत हुई थी, उनकी याद में शहीद वेदी बनाई गई है. शुभेंदु अधिकारी ने कहा कि यह शहीद वेदी मैंने बनवाई थी.

 सिंहवासिनी मंदिर पहुंचे बीजेपी प्रत्याशी शुभेंदु अधिकारी ने कहा कि ये दुर्गा मंदिर है, मैं जब भी यहां आता हूं तो मंदिर जरूर आता हूं, ये आस्था का मामला है, मैं पहली बार इस मंदिर में नहीं आया हूं.

शुभेंदु अधिकारी नामांकन दाखिल करने के लिए अपने घर से निकल चुके हैं. वह सिंहबाहिनी मंदिर पहुंचे हैं.

शुभेंदु अधिकारी के नामांकन के साथ नंदीग्राम में आर-पार की लड़ाई का असल शंखनाद हो जाएगा. ममता बनर्जी, पीएम नरेंद्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह को बार-बार बाहरी बता रही है और खुद को नंदीग्राम की बेटी, लेकिन शुभेंदु उन्हें बाहरी बताकर नंदीग्राम के संग्राम में अपनी जमीन मजबूत करने की कोशिश कर रहे हैं.

2016 का विधानसभा चुनाव शुभेंदु अधिकारी ने नंदीग्राम से ही लड़कर जीता था, लेकिन तब पार्टी तृणमूल कांग्रेस थी. आज वो बीजेपी के प्रत्याशी हैं और ममता को हराने का दम भर रहे हैं. और तो और बीजेपी ने नंदीग्राम के उस घर के बाहर भी अपनी मौजूदगी दर्ज करा रही है, जो फौरी तौर पर ममता का आशियाना बना हुआ है.

इसी नंदीग्राम में नामांकन भरने के बाद ममता घायल हुई हैं और फिलहाल अस्पताल में हैं. ममता ने पहले बीजेपी पर हमले का आरोप लगाया, जिसे बीजेपी ने नाटक करार दिया. अब नंदीग्राम में आज शुभेंदु अधिकारी के नामांकन के साथ ही सियासी महायुद्ध का नया अध्याय लिख दिया जाएगा, जिसका फैसला 1 अप्रैल को यहां की जनता करेगी और परिणाम 2 मई को आएगा.

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