प्रदेश मंे ईको-टूरिज्म की व्यापक सम्भावनाएं, गोरखपुर में भी अनेक पर्यटन स्थलों का विकास कराया जा रहा
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने आज जनपद गोरखपुर में मुख्यमंत्री पर्यटन संवर्धन योजना के अन्तर्गत 180 करोड़ रुपये की लागत से प्रदेश के विभिन्न विधानसभा क्षेत्रांे हेतु कुल 373 महत्वपूर्ण पर्यटन स्थलोें के सौन्दर्यीकरण एवं पर्यटन विकास कार्यों का शिलान्यास किया।
इस अवसर पर उन्होंने मुख्यमंत्री पर्यटन संवर्धन योजना के अन्तर्गत महत्वपूर्ण पर्यटन स्थलों के सौन्दर्यीकरण एवं पर्यटन विकास कार्यांे की विधानसभावार सूची तथा पर्यटन विभाग में प्रदेश सरकार द्वारा कराये गये चार वर्ष के कार्यों एवं उपलब्धियों की पुस्तिका का विमोचन किया।
इस मौके पर मुख्यमंत्री जी के समक्ष मुख्यमंत्री पर्यटन संवर्धन योजना से सम्बन्धित ऑडियो/वीडियो तथा गीत ‘आओ यूपी चलंे’ का प्रदर्शन किया गया।
मुख्यमंत्री जी ने प्रदेश सरकार के चार वर्ष पूर्ण होने एवं आज पाचवें वर्ष में प्रवेश पर प्रदेशवासियों को बधाई देते हुए कहा कि आज 180 करोड़ रुपये लागत के कुल 373 पर्यटन विकास कार्यों का एक साथ शिलान्यास किया गया है। यह सभी कार्य मानक के अनुरूप गुणवत्तापूर्ण एवं समयबद्ध ढंग से पूर्ण किये जायंे।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि प्रदेश आज निरन्तर विकास की नई ऊँचाइंयों को छू रहा है। उत्तर प्रदेश अपार सम्भावनाओं का राज्य है और यह प्रदेश देश के समृद्ध राज्यों में खड़े होने की सामर्थ्य रखता है। प्रदेश को देश के अग्रणी राज्यों में सम्मिलित करने के लिए राज्य सरकार पूरी प्रतिबद्धता के साथ निरन्तर कार्य कर रही है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि पर्यटन स्थलों का विकास रोजगार सृजन का बड़ा माध्यम है। प्रयागराज कुम्भ-2019 में 24 करोड़ पर्यटकों एवं श्रद्धालुओं ने भागीदारी की। इससे वहां के व्यावसायिक प्रतिष्ठानों की आमदनी में गुणात्मक वृद्धि हुई तथा बड़ी संख्या में लोगों को रोजगार प्राप्त हुआ। प्रदेश सरकार राज्य के सभी पर्यटन स्थलों के सौन्दर्यीकरण एवं विकास के लिए निरन्तर कार्य कर रही है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि वर्ष 1916 में राष्ट्रपिता महात्मा गांधी काशी आए थे। उस समय वहां की सकरी गलियों को देखकर उन्होंने तीखी प्रतिक्रिया व्यक्त की थी। आज प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी ने काशी को एक नये कलेवर में विकसित किया है
वहां पर्यटन के साथ-साथ रोजगार की सम्भावनाएं बढ़ी हैं। वहां टूरिज्म फेसिलिटेशन सेन्टर (पर्यटन सुविधा केन्द्र) भी बनाया गया है। पहले मंदिर में चढ़ाये हुए पुष्पों को फेंक दिया जाता था, आज उन्हें एकत्र कर स्वयं सहायता समूह द्वारा इत्र तैयार किया जाता है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि वर्ष 2020 कोरोना महामारी से संघर्ष में व्यतीत हुआ है। राज्य सरकार ने कोरोना के विरुद्ध सफल संघर्ष करने के साथ ही विकास प्रक्रिया को भी गतिशील किया है। कोरोना जैसी वैश्विक महामारी में भी प्रदेश में लोगों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के साथ-साथ घरेलू पर्यटन को बढ़़ावा दिये
जाने हेतु अयोध्या में दीपोत्सव के आयोजन में अभूतपूर्व कौशल का परिचय दिया गया। काशी के बाद अब अयोध्या पर्यटन के वैश्विक मानचित्र पर अपना स्थान बनाता दिखायी दे रहा है। उन्होंने कहा कि प्रदेश के सभी महत्वपूर्ण पर्यटन स्थलों पर सौन्दर्यीकरण एवं पर्यटन विकास के कार्य कराए जा रहे हैं।
मगहर में संतकबीर पर शोध केन्द्र की स्थापना होगी। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार की सकारात्मक सोच ने समाज के हर तबके को रोजगार से जोड़ा है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि प्रदेश मंे ईको-टूरिज्म की व्यापक सम्भावनाएं हैं। गोरखपुर में भी अनेक पर्यटन स्थलों का विकास कराया जा रहा है। पर्यटन केन्द्रांे को अच्छी कनेक्टिविटी के साथ जोड़ा जा रहा है।
कुशीनगर अन्तर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे से शीघ्र ही हवाई यात्रा की सेवाएं प्रारम्भ होंगी। चित्रकूट, सोनभद्र, आजमगढ़, श्रावस्ती, मेरठ, मुरादाबाद जनपदांे में एयरपोर्ट का निर्माण कराया जा रहा है। स्वच्छता को प्राथमिकता देने पर बल देते हुए उन्होंने कहा कि जीवन में स्वच्छता का विशेष महत्व है। स्वच्छता से ही इंसेफ्लाइटिस जैसी बीमारी को नियंत्रित किया गया है।
पर्यटन, संस्कृति, धर्मार्थ कार्य राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) डॉ0 नीलकण्ठ तिवारी ने अपने स्वागत सम्बोधन में कहा कि उत्तर प्रदेश आज सभी क्षेत्रों में दिन प्रतिदिन नये कीर्तिमान स्थापित कर विकास एवं प्रगति की नई ऊँचाइयां प्राप्त कर रहा है।
उत्तर प्रदेश, उत्तम प्रदेश के रूप में विकसित हो रहा है। बड़ी संख्या में उद्यमी प्रदेश में अपना उद्यम लगा रहे हैं।
इस अवसर पर सांसद श्री रवि किशन, श्री कमलेश पासवान, श्री जय प्रकाश निषाद, गोरखपुर के महापौर श्री सीताराम जायसवाल, विधायक डॉ0 राधा मोहन दास अग्रवाल सहित अन्य जनप्रतिनिधिगण व शासन-प्रशासन के वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे