महाराष्ट्र में व आसपास के जिलों में लगातार हो रही बारिश के कारण बनी बाढ़ की स्थिति
महाराष्ट्र में मुंबई और आसपास के जिलों में लगातार बारिश जारी है. इस वजह से यहां बाढ़ की स्थिति बनी हुई है. बाढ़ में फंसे लोगों को बचाने के लिए सेना और नौसेना की टीम जुटी हुई है.
जगह-जगह भूस्खलन की घटनाएं भी हुई हैं. पूर्वी मुंबई में शुक्रवार तड़के गोवंडी के शिवाजी नगर इलाके में एक मंजिला मकान ढहने से कम से कम चार लोगों की मौत हो गयी और नौ अन्य घायल हो गए. भारी बारिश के चलते मुंबई से चलने वाली कई ट्रेनों को भी निरस्त कर दिया गया है.
महाराष्ट्र के रायगढ़, रत्नागिरी और सतारा जिलों में मूसलाधार बारिश के बाद पहाड़ियों के खिसकने, भूस्खलन, घरों के क्षतिग्रस्त होने जैसी कई घटनाओं में 100 से अधिक लोगों की मौत हो चुकी है.
महाराष्ट्र सरकार से प्राप्त अनुरोध के आधार पर, मुंबई में भारतीय नौसेना की पश्चिमी नौसेना कमान ने राज्य प्रशासन को सहायता प्रदान करने के लिए बाढ़ बचाव दल और हेलीकॉप्टर जुटाए.
कुल सात नौसैनिक बचाव दल मुंबई से रत्नागिरी और रायगढ़ जिलों में तैनाती के लिए सड़क मार्ग से रवाना हुए. जरूरत पड़ने पर तत्काल तैनाती के लिए मुंबई में अतिरिक्त बाढ़ बचाव दल को उच्च स्तर की तत्परता पर रखा जा रहा है.
महाराष्ट्र में पिछले दो दिनों में बारिश से जुड़ी घटनाओं और भूस्खलन में 129 लोगों की मौत हो गई. जबकि पुणे मंडल के तहत 84,452 लोगों को शुक्रवार को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया गया
क्योंकि राज्य में भारी बारिश का कहर जारी है. इनमें 40,000 से अधिक लोग कोल्हापुर जिले से हैं. कोल्हापुर शहर के पास पंचगंगा नदी 2019 में आई बाढ़ के स्तर से भी ऊपर बह रही है.
भारत मौसम विज्ञान विभाग ने शुक्रवार शाम सतारा जिले के लिए एक नया रेड अलर्ट जारी कर अगले 24 घंटे में जिले के पर्वतीय घाट इलाके में अत्यधिक भारी बारिश होने का पूर्वानुमान व्यक्त किया है,
जहां भूस्ख्लन के बाद करीब 30 लोग लापता हैं. महाराष्ट्र सरकार ने भूस्खलन में मरने वाले लोगों के परिजन को पांच-पांच लाख रुपये की अनुग्रह राशि देने की घोषणा की है.