LIVE TVMain Slideउत्तराखंडदेश

उत्तराखंड विधानसभा में विपक्ष ने किया जोरदार हमला

विधानसभा में संख्या बल कम होने के बावजूद भी कांग्रेस प्रचंड बहुमत की सरकार पर भारी पड़ती नजर आ रही है. नेता प्रतिपक्ष प्रीतम सिंह के नेतृत्व में कांग्रेस पहले के मुकाबले ज्यादा धारधार दिखाई दे रही है.

उपनेता करना मेहरा का भी नेता प्रतिपक्ष प्रीतम सिंह को पूरा साथ मिल रहा है. हर दिन कांग्रेसी विधायक अपने विरोध के तरीकों से आम जनता का ध्यान खींचने के साथ ही सदन में मुद्दों को जोरदार तरीके से उठा रहे हैं.

प्रश्नकाल हो या फिर नियम 58 के तहत उठ रहे मुद्दे, विपक्ष पूरी तरह एकजुट होकर सरकार को घेर रहा है. कई बार मंत्री जबाव देने में खुद को असहज पा रहे हैं.

शुक्रवार को कृषि कानूनों के खिलाफ, गन्ना के समर्थन मूल्य और पहाड़ की फसलों के समर्थन मूल्य बढ़ाने की मांग को लेकर कांग्रेस का प्रदर्शन जारी रहा. इसी कड़ी में नेता प्रीतम सिंह के नेतृत्व में कांग्रेस विधायक ट्रैक्टर चलाकर विधानसभा भवन पहुंचे.

इस दौरान नेता प्रतिपक्ष सहित कांग्रेस के तमाम विधायक ट्रैक्टर पर गन्ना हाथ में लिए नारेबाजी करते हुए विधानसभा पहुंचे. इसके बाद विधानसभा भवन में भी सरकार की नीतियों के खिलाफ नारेबाजी कर सरकार का ध्यान आकृष्ट किया.

इसके साथ सदन में कांग्रेसी विधायकों ने जोर शोर से गन्ना किसानों की उपेक्षा और बंद पड़ी चीनी मिलों का मुद्दा उठाया. नेता प्रतिपक्ष प्रीतम सिंह ने कहा कि राज्य सरकार ने पिछले 4 सालों में गन्ना किसानों की उपेक्षा की है,

जो अभी तक जारी है. नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि केंद्र सरकार ने जिस तरीके से किसानों के खिलाफ तीन कानून बनाए हैं, उसको जब तक रद्द नहीं किया जाता, तब तक कांग्रेस किसानों की मांग को लेकर विरोध प्रदर्शन जारी रहेंगे.

सदन में कांग्रेसी विधायकों ने गन्ना किसानों के साथ ही औद्योगिक विकास, श्रमिकों की समस्याओं, राज्य में स्थापित फैक्ट्रियों में 70 प्रतिशत रोजगार स्थानीय लोगों को न दिए जाने और कोविड की वजह से सरकारी स्कूलों के छात्रों की पढ़ाई के नुकसान का मुद्दा उठाया.

नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि शिक्षा की दो व्यवस्थाएं हैं. सरकारी और प्राइवेट. कोविड से सरकारी स्कूलों के छात्रों की पढ़ाई प्रभावित हुई है. जिस परिवार में बच्चों की ऑनलाइन पढ़ाई के लिए एंड्राइड फोन नहीं है, उस परिवार को सरकार को एंड्राइड फोन देना चाहिए.

पत्रकारों के सवाल पर नेता प्रतिपक्ष ने कहा सरकार के मंत्री बिना तैयारी के सदन में आते हैं. किसी भी सवाल का संपूर्ण जवाब सदन में नहीं मिलता है. सरकार जन मुद्दों को लेकर गंभीर नहीं है.

रानीपोखरी पुल दुर्घटना पर जहां मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने जांच के आदेश दिए हैं, वहीं कांग्रेस ने सरकार के इस फैसले पर सवाल खड़े किए हैं. बड़ी मछलियों को बचाने के लिए जांच की बात कह दी जाती है. कुंभ कोरोना टेस्ट घोटाले में भी ऐसा ही हुआ है. अगर सरकार वाकई भ्रष्टाचार को लेकर गंभीर है तो इन मामलों की उच्चस्तरीय जांच होनी चाहिए.

Related Articles

Back to top button