पश्चिम बंगाल की राजधानी कोलकाता में इस बार दुर्गा पंडाल में लगेगी ममता बनर्जी की मूर्ति
पश्चिम बंगाल की राजधानी कोलकाता में बागुईहाटी क्षेत्र के नज़रूल पार्क उन्नयन समिति ने देवी दुर्गा के साथ मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की एक मूर्ति लगाने का फैसला किया है, जिसके बाद विवाद छिड़ गया है.
इसको लेकर बीजेपी नेता ने सीएम ममता पर निशाना साधा है. बीजेपी नेता अर्जुन सिंह ने कहा है कि भारतीय इतिहास में जिस भी राजनेता ने अपना आदर्श बनाया है, उसे विनाश का सामना करना पड़ा है.
यह आज तक का इतिहास है. मायावती हो या दक्षिण के बड़े राजनेता, जिस भी राजनेता की पूजा की गई है, वे विनाश की ओर ले गए हैं. मशहूर क्ले मॉडलर मिंटू पाल अपने कुमारतुली स्टूडियो में फाइबरग्लास की मूर्ति बना रही हैं.
मिंटू पल ने कहा, ‘’यह विचार कोलकाता में होने वाली थीम पूजा से आया है, इसलिए थीम पूजा के समय सभी क्लब चाहते हैं कि क्लब आगे बढ़े और कुछ नया दिखाए. तो उन्होंने मुझसे बात की है. मैंने बताया कि क्यों न मुख्यमंत्री ममता बनर्जी को मां दुर्गा के रूप में चित्रित किया जाए
क्योंकि वह बंगाल, बंगाल के लोगों, बंगाली समाज के लिए ‘कन्याश्री’, ‘जुबोश्री’, ‘स्वास्थ्य साथी’, ‘लखीर भंडार’ जैसी योजनाएं लाई हैं. यह कोई राजनीतिक मुद्दा नहीं है. किसी भी मुख्यमंत्री ने समाज के लिए इस तरह से काम नहीं किया है,
वह जो भी प्रोजेक्ट ममता लेकर आई हैं, वह कोई नहीं लाया. अब बंगाल की पूजा समिति लोगों को अपने काम को लोगों के सामने लाने के लिए कि ममता जी ने ये काम किया है और उन्हें देवी का रूप माना जाता है.
ममता मूर्ति के दस हाथों में हथियार रखने के बजाय, कन्याश्री, स्वस्थ साथी, रूपश्री, सबुज साथी और लखीर भंडार जैसी परियोजनाओं का चित्रण किया जाएगा. उन्होंने कहा कि आयोजक लोगों को उनकी सरकार द्वारा शुरू की गई
विभिन्न सार्वभौमिक रूप से प्रशंसित विकास परियोजनाओं के बारे में बताना चाहते हैं. पंडाल में कार्तिक, गणेश, लक्ष्मी, सरस्वती की अन्य मूर्तियों को छोटे बच्चों के माध्यम से दिखाया जाएगा और छोटी दुर्गा मां की मूर्ति की पूजा होगी.
ममता की मूर्ति को लेकर बीजेपी नेता अर्जुन सिंह ने तंज कसते हुए कहा कि जिसने भी हमारे देवी-देवताओं का अनादर करने का प्रयास किया है और जो लोग अपने समर्थकों के माध्यम से खुद को भगवान मानते हैं, वे राजनीति में लंबे समय तक स्थिर नहीं रहे हैं.
वहीं, बीजेपी की टिप्पणी के बाद ममता की पार्टी तृणमूल कांग्रेस के विधायक मदन मित्रा ने कहा की बंगाल दीदी ने एक मां तरह बंगाल की रक्षा की हैं. उन्होंने कहा, “बंगाल में हमारे पास एक गीत है.
पत्थर में नाम लिखोगे तो समय के साथ ढल जाएगा, लेकिन नाम दिल में लिखोगे तो दिल में रहेगा. ऐसे ही ममता की मूर्ति नहीं रहेगी, लेकिन वह हमारे दिलों में रहेगी. बंगाल की 10 करोड़ जनता के दिलों में बसने वाले शख्स का नाम ममता बनर्जी है.’’
मदन मित्रा ने आगे कहा, ‘’हमने देखा है कि लोगों ने असुरों और दानवों के चेहरे पर नरेंद्र मोदी का चेहरा चिपका दिया है. यह हम कुछ नहीं कह सकते, क्योंकि यह उनकी पसंद है. यह लोकतंत्र है और लोग वही करते हैं जो वे चाहते हैं. हिंदू धर्म एक बहुत बड़ा धर्म है.”
This deification of Mamata Banerjee, who has blood of innocent Bengalis on her hand, following the gruesome post poll violence in Bengal, is nauseating. This is an insult to goddess Durga. Mamata Banerjee must stop this. She is hurting the sensibilities of Hindus of Bengal. https://t.co/1px1OqsFWA
— Amit Malviya (@amitmalviya) September 2, 2021
वहीं, बीजेपी आईटी सेल के प्रमुख अमित मालवीय ने कहा है, ‘’बंगाल में चुनाव के बाद की भीषण हिंसा के बाद ममता बनर्जी के हाथों में निर्दोष बंगालियों का खून है. यह देवी दुर्गा का अपमान है. ममता बनर्जी को इसे रोकना चाहिए. वह हिंदुओं की संवेदनाओं को आहत कर रही हैं.’’
वहीं, समिति के अध्यक्ष ने बताया, “इसमें राजनीतिक कुछ भी नहीं है. हमारी मुख्यमंत्री ममता बनर्जी हैं और हमारे मुख्यमंत्री के लिए हमने सोचा है. मुख्यमंत्री जिस तरह से हमारे लोगों के बारे में सोचते हैं,
वह सबसे अच्छा है और इसलिए हमने भी उनके बारे में सोचा है. ममता बनर्जी लोगों के साथ खड़ी रहीं और कोरोना और तूफान के समय में वह लोगों के साथ खड़ी रहीं.’’
नजरूल पार्क उन्नयन समिति के अध्यक्ष इंद्रनाथ बागुई ने बताया कि हम मूर्ति बनाने के लिए जितने पैसे चाहिए, उतने काम देंगे. हमने पंडाल बनाने वालों से भी यही कहा है कि आप ममता बनर्जी के लिए ये बना रहे हैं.
इससे आपका जीवन बन जाएगा और आपको भविष्य में और काम दिया जाएगा. ममता बनर्जी की मूर्ति की ऊंचाई करीब 5 फीट 4 इंच की होगी और उसी के अनुसार पंडाल की छत की ऊंचाई बनाई जाएगी. ममता सरकार जो भी दिशा-निर्देश जारी करेगी, हम उसका पालन करेंगे.