कैशियर हत्याकांड : आठ बदमाशों पर टिकी शक की सुई, जल्द खुलासे का दावा
विभूतिखंड थाना क्षेत्र में दिनदहाड़े दस लाख की लूट के बाद बिहारी गैस एजेंसी के कैशियर श्याम सिंह की हत्या के मामले में पुलिस ने आठ ऐसे बदमाशों को चिह्नित किया है, जो लखनऊ समेत अन्य जिलों में लूट और हत्या की कई बड़ी वारदातों को अंजाम दे चुके हैं। सभी बदमाश इन दिनों जेल से बाहर हैं। फुटेज में दिखे बदमाशों से इनका हुलिया भी मिल रहा है। इनमें अधिकांश सुलतानपुर और प्रतापगढ़ के बताए जा रहे हैं।
पुलिस की दो टीमों ने अलग से उन्हें पकडऩे के लिए दोनों जिलों में डेरा डाल रखा है। लखनऊ पुलिस ने दोनों जिलों की पुलिस से भी संपर्क किया है। अफसरों ने देर रात खुलासे के लिए टीमों के साथ बैठक करके उनसे फीडबैक लिया। इसके अतिरिक्त एसएसपी कलानिधि नैथानी ने बताया कि पूर्व में हुई इस तरह की वारदातों में शामिल 50 बदमाशों को पुलिस ने चिह्नित किया है। जिनके सत्यापन की कार्रवाई की जा रही है। पुलिस और एसटीएफ की टीमें साठ से अधिक संदिग्धों से पूछताछ कर चुकी हैं। पुलिस और एसटीएफ समेत करीब सौ पुलिसकर्मी घटना के खुलासे के लिए लगाए गए हैं।
श्याम सिंह के कंपनी के कर्मचारियों से भी बारी-बारी से पूछताछ हो रही है। 12 पुलिस टीमों को केस वर्कआउट करने के लिए लगाया है। इसके अतिरिक्त एएसपी क्राइम और एएसपी उत्तरी के नेतृत्व में स्पेशल टीमों को लगाया गया है। सात स्वॉट टीमों को लगाया गया है। लखनऊ समेत अन्य जिलों में लूट के बाद हत्या की वारदातों को करने वालों बदमाशों की धरपकड़ के लिए सुलतानपुर, प्रतापगढ़ रायबरेली, उन्नाव, बाराबंकी, कानपुर, सीतापुर समेत अन्य कई गैर जनपदों में भी पुलिस टीमों ने डेरा डाल रखा है।
सौ से अधिक सीसी कैमरों की खंगाली गई फुटेज
लखनऊ से बाहर जाने वाले सीतापुर रोड, उन्नाव रोड, रायबरेली रोड, बाराबंकी रोड समेत सभी टोल प्लॉजा पर फुटेज खंगाली जा रही है। पुलिस ने मंगलवार को दोबारा घटनास्थल का निरीक्षण किया, आसपास के दुकानदारों समेत कई लोगों से पूछताछ की।