ओवैसी ने बैंकों में जमा बचत को लेकर पूछा बड़ा सवाल। ……
भारतीय रिजर्व बैंक ने नकदी संकट से जूझ रहे निजी क्षेत्र के येस बैंक के निदेशक मंडल को भंग करते हुए उस पर प्रशासक नियुक्त कर दिया है. इसके साथ ही बैंक के जमाकर्ताओं पर निकासी की सीमा सहित इस बैंक के कारोबार पर कई तरह की पाबंदिया लगा दी गयी हैं. केंद्रीय बैंक ने अगले आदेश तक बैंक के ग्राहकों के लिए निकासी की सीमा 50,000 रुपये तय की है. बैंक का नियंत्रण भारतीय स्टेट बैंक के नेतृत्व में वित्तीय संस्थानों के एक समूह के हाथ में देने की तैयारी की गयी है.
ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन के प्रमुख ओवैसी ने पूछा है कि क्या बैंकों में हमारी बचत सुरक्षित है? ओवैसी ने कहा है पहले गिरती इकॉनमी का शिकार गैर बैंकिंग कंपनियां जैसे ILFS & Dewan हुईं, उसके बाद फिर अमीर राज्य महाराष्ट्र में एक बड़ा सहकारी बैंक पीएमसी बैंक विफल हुआ. इसके बाद अब पहला शैड्यूल कमर्शियल बैंक YES बैंक फेल हो गया. क्या बैंकों में हमारी बचत सुरक्षित है साथ ही यह भी बता दें की आरबीआई ने गुरुवार देर शाम जारी बयान में कहा कि येस बैंक के निदेशक मंडल को तत्काल प्रभाव से भंग कर दिया गया है
और भारतीय स्टेट बैंक के पूर्व मुख्य वित्त अधिकारी प्रशांत कुमार को येस बैंक का प्रशासक नियुक्त किया गया है. इससे करीब छह माह पहले रिजर्व बैंक ने बड़ा घोटाला सामने आने के बाद शहर के सहकारी बैंक पीएमसी बैंक के मामले में भी इसी तरह का कदम उठाया गया था. येस बैंक काफी समय से डूबे कर्ज की समस्या से जूझ रहा है. इससे पहले दिन में सरकार ने एसबीआई और अन्य वित्तीय संस्थानों को येस बैंक को उबारने की अनुमति दी थी.