रूस में वैक्सीन का इंसानों पर परीक्षण हुआ पूरा अगस्त तक दुनियाभर में हो सकती है लॉन्च
जानलेवा कोरोना वायरस ने पिछले छह महीनों से पूरी दुनिया में तबाही मचा रखी है. इस बीच रूस की सेचेनोव यूनिवर्सिटी ने दुनिया की पहली कोरोना वैक्सीन तैयार कर लेने का दावा किया है. यूनिवर्सिटी ने कहा कि इस वैक्सीन के सभी ट्रायल सफल रहे हैं. ये वैक्सीन अगस्त मध्य तक दुनियाभर के लोगों के लिए बाजार में उपलब्ध हो सकती है.
सेचेनोव यूनिवर्सिटी सेंटर फॉर क्लिनिकल रिसर्च ऑन मेडिसिंस ऐलेना स्मोलिचोरुक के प्रमुख और मुख्य शोधकर्ता ने रूसी समाचार एजेंसी टीएएसएस को बताया कि वैक्सीन का इंसानों पर परीक्षण पूरा हो गया है और इसका रिजल्ट पॉजिटिव आया है. उन्होंने कहा, ट्रायल से ये साबित हो गया है कि वैक्सीन सुरक्षित है.
इंस्टीट्यूट फॉर ट्रांसलेशनल मेडिसिन एंड बायोटेक्नोलॉजी के निदेशक वदिम तरासोव ने बताया कि यूनिवर्सिटी ने 18 जून को रूस के गेमली इंस्टीट्यूट ऑफ एपिडेमियोलॉजी एंड माइक्रोबायोलॉजी की तरफ से वैक्सीन का ट्रायल शुरू किया था.
वहीं, इंडियन काउंसिल फॉर मेडिकल रिसर्च और भारत बायोटेक ने भी एकसाथ मिलकर कोरोना वैक्सीन तैयार कर ली है. हालांकि, अभी इसका ह्यूमन ट्रायल चल रहा है.
भारत बायोटेक के अलावा कई और भारतीय कंपनियों ने भी कोरोना वैक्सीन तैयार कर ली है. इन भारतीय फर्मों में जेडियस कैडिला ,पैंसिया बायोटेक और सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया शामिल हैं. जेडियस और सीरम ने ह्यूमन ट्रायल के लिए केंद्रीय ड्रग्स स्टैंडर्ड कंट्रोल ऑर्गनाइजेशन को आवेदन किया है.
बांग्लादेश की कंपनी ग्लोब बायोटेक लिमिटेड ने कोविड-19 वैक्सीन बनाने की प्रक्रिया में आगे बढ़ने का दावा किया है. ऐसा दावा करने वाली बांग्लादेश की इस कंपनी ने कहा है कि कोविड-19 वैक्सीन का प्रारंभिक एनिमल मॉडलिंग परीक्षण सफल रहा है
और उसका लक्ष्य दिसंबर 2020 तक बाजार में इस वैक्सीन को उपलब्ध कराना है. ग्लोब बायोटेक लिमिटेड के सहायक प्रबंधक एवं रिसर्च एंड डेवलपमेंट प्रभारी डॉ. आसिफ महमूद ने कहा कि 10 जून से 28 जून के बीच पांच खरगोशों पर प्रारंभिक परीक्षण करने के बाद सकारात्मक परिणाम प्राप्त हुए हैं.