कांग्रेस सांसद शशि थरूर ने बीजेपी सांसद निशिकांत दुबे के खिलाफ कार्यवाही की मांग की
कांग्रेस सांसद और सूचना प्रौद्योगिकी संबंधी संसदीय समिति के प्रमुख शशि थरूर ने बीजेपी के लोकसभा सदस्य निशिकांत दुबे के खिलाफ विशेषाधिकार हनन का नोटिस दिया है. उन्होंने आरोप लगाया है कि दुबे ने फेसबुक प्रकरण को लेकर समिति की बैठक बुलाने के फैसले पर सोशल मीडिया में अपमानजनक टिप्पणी की.
लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को लिखे पत्र में थरूर ने दुबे की ओर से ट्विटर पर की गई उस टिप्पणी पर आपत्ति जताई है जिसमें बीजेपी सांसद ने कहा था कि स्थायी समिति के प्रमुख के पास इसके सदस्यों के साथ एजेंडे के बारे में विचार-विमर्श किए बिना कुछ करने का अधिकार नहीं है.
दरअसल، थरूर ने फेसबुक से जुड़े विवाद को लेकर रविवार को कहा था कि सूचना प्रौद्योगिकी मामले की स्थायी समित सोशल मीडिया कंपनी से इस विषय पर जवाब मांगेगी.
लोकसभा अध्यक्ष को लिखे पत्र में थरूर ने कहा निशिकांत दुबे की अपमानजनक टिप्पणी से न सिर्फ सांसद एवं समिति के प्रमुख के तौर पर मेरे पद का अनादर हुआ है बल्कि उस संस्था का भी अपमान हुआ है जो हमारे देश की जनता की आकांक्षा का प्रतिबिंब है उन्होंने बिरला से आग्रह किया कि दुबे के खिलाफ कार्यवाही शुरू करने के लिए दिशा निर्देश जारी किए जाएं. कांग्रेस सांसद ने सख्त कार्यवाही के जरिए आगे ऐसी घटना की पुनरावृति न होने की मांग की.
गौरतलब है कि फेसबुक से जुड़ा पूरा विवाद अमेरिकी अखबार वाल स्ट्रीट जर्नल में शुक्रवार को प्रकाशित रिपोर्ट के बाद शुरू हुआ है. रिपोर्ट में फेसबुक के अज्ञात सूत्रों के हवाले से दावा किया गया है
कि कंपनी के वरिष्ठ भारतीय नीति अधिकारी ने तेलंगाना के एक भाजपा विधायक की सांप्रदायिक पोस्ट पर स्थायी पाबंदी को रोकने संबंधी आंतरिक पत्र में हस्तक्षेप किया था. उधर, फेसबुक ने सफाई देते हुए कहा कि उसके मंच पर ऐसे भाषणों और सामग्री पर अंकुश लगाया जाता है, जिनसे हिंसा फैलने की आशंका रहती है.
इसके साथ ही कंपनी ने कहा कि उसकी ये नीतियां वैश्विक स्तर पर लागू की जाती हैं और इसमें यह नहीं देखा जाता कि मामला किस राजनीतिक दल से संबंधित है. हालांकि फेसबुक ने ये जरूर स्वीकार किया है कि उसकी तरफ से घृणा फैलाने वाली सभी सामग्रियों पर अंकुश लगती रही है, लेकिन इस दिशा में और बहुत कुछ करने की जरूरत है.